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जिहादियों के लिए आधी रात में खुलने वाली अदालत ने हमे कभी नहीं सुना- अनुपम खेर

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मुम्बई। बॉलीवुड के जाने-माने अभिनेता अनुपम खेर ने अपने अभिनय कला से दर्शकों के दिलों में जगह बनाने वाले अभिनेता है। वह अक्सर सोशल मीडिया के जरिए अपने प्रशंसकों के साथ अपने मन की बात साझा करते रहते हैं। हाल ही में अभिनेता ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म कू पर अपनी फिल्म ‘द कश्मीर फाइल्स’ से संबंधित एक छोटा-सा वीडियो साझा किया है। इस वीडियो में अनुपम खेर कहते हैं,  “आप सब तक पहुंचने के लिए झटपटा रहा हूं। मुझसे मिलिए।”

सोशल मीडिया एप पर साझा किए गए वीडियो की शुरुआत में अनुपम खेर बोलते हैं, “ईश्वर की कृपया और आप सबके प्यार व आर्शीवाद से, मैं 522 फिल्में कर चुका हूं। अनुपम खेर हूं। पात्र बनता हूं। अभिनय करता हूं। हंसाता हूं। रुलाता हूं। यही मेरा सारांश है। लेकिन इस बार मैं कोई पात्र नहीं बना। मैंने अभिनय नहीं किया और द कश्मीर फाइल्स कोई डायलॉग भरी कहानी भी नहीं है।”

अभिनेता कश्मीरी पंडितों की बात करते हुए कहते हैं, “32 साल पहले लाखों कश्मीरी हिंदू तहस-नहस कर दिए गए थे। मेरे हाथ, पाओं, बाजू, ये शरीर जैसे रातों-रात जिहाद ने रौंद डाला। 90 करोड़ का यह भरा-पूरा देश बेखबर रहा। पुलिस मानों गायब हो गई। सेना छावनियों में पड़ी रही। और कश्मीर हम हिंदूओं से खाली करा लिया गया।”

निराश और हताश अभिनेता शिकायत करते हैं कि “कश्मीरी पंडितों के पलायन पर कोई जांच नहीं हुई। आज तक कोई आयोग नहीं बैठा। कोई मुकदमा नहीं चला। कोई दोषी नहीं पाया गया। किसी को सजा नहीं हुई। हां मुद्दा जरूर उछाला गया। लेकिन जिहादियों के लिए आधी रात में खुलने वाली अदालत ने हमें सुनने से भी इनकार कर दिया।

अनुपम खेर के लिए उनकी फिल्म क्या है ये बताते हुए अभिनेता कहते हैं, “द कश्मीर फाइल्स फिल्म से कहीं बढ़कर, आप सबकी की अंतरआत्मा की अदालत में हम कश्मीरी हिंदूओं की एक दस्तक है। मैं अनुपम खेर नहीं हूं। मैं अब पुष्कर नाथ हूं। आप सब तक पहुंचने के लिए झटपटा रहा हूं। मुझसे मिलिए, द कश्मीर फाइल्स में।



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