जज्बे, जुनून और अन्याय के खिलाफ लड़ाई को दर्शाती है आर.माधवन की ‘रॉकेट्री द नंबी इफेक्ट’
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वाकई अद्भुत फ़िल्म है, श्री नम्बी नारायण जी रॉकेट साइंटिस्ट के साथ साथ बहुत बड़े देशभक्त भी हैं। माधवन जी को बधाई जिन्होंने बिना कोई फालतू मसाला के बिना एक सच्ची फ़िल्म बनाई।इस फ़िल्म को सरकार द्वारा टैक्स फ्री करना चाहिये तथा देश की युवा पीढ़ी को दिखाना चाहिये ।
आर. माधवन एक ऐसी फिल्म लेकर आए हैं, जो हमें रोक कर सोचने को मजबूर कर देती है। रॉकेट्री: द नांबी इफेक्ट को देखना उन पलों को बार-बार जीने जैसा है, जिसका मेरे जीवन में लंबे समय से इंतजार था। फिल्म पद्मभूषण सम्मान से सम्मानित रॉकेट वैज्ञानिक नंबी नारायणन की जिंदगी पर आधारित है। एक ऐसा महान वैज्ञानिक, जिसने रॉकेट साइंस की दुनिया में भारत को ऊंचा उठाने के लिए अपना सब कुछ दांव पर लगा दिया। इसके बदले में उन पर देश से गद्दारी करने का ठप्पा लगा दिया जाता है। आर. माधवन ने इस कहानी को पर्दे पर जीवंत करने की कोशिश की है, जो शायद आपके भी रोंगटे खड़े कर दे।
आर. माधवन ने वास्तव में जबरदस्त निर्देशन किया है । फिल्म में दमदार डायलॉग्स हैं। ,उन्होंने पर्दे पर इमोशंस को सजीव कर दिया । फिल्म में ह्यूमर भी शानदार है। जब नंबी नारायणन को रॉकेट साइंस तकनीक बेचने के झूठे आरोप में गिरफ्तार किया जाता है, उस वक्त उनके और परिवार के साथ जो होता है, वो आपकी आंखें नम कर देगा। जेल में उन्हें यातना देने से लेकर बारिश में पत्नी संग बीच सड़क रास्ते पर धकेल दिए जाने जैसे कई सीन तो इतने मार्मिक हैं। फिल्म में उनके अभिनय को सदियों तक याद रखा जाएगा।
नांबी नारायणन खुद इस फिल्म की मेकिंग से शुरू से जुड़े रहे हैं। सिरसा रे का कैमरा भारत सहित अमेरिका, रूस, स्कॉटलैंड, फ्रांस की खूबसूरती के साथ-साथ स्पेस इंजन की भव्यता दर्शाने में कामयाब रहा है। बैकग्राउंड म्यूजिक और गाने कहानी के अनुरूप हैं। फिल्म उन सभी युवाओं को तो जरूर ही देखनी चाहिए जो देश के लिए कुछ करना चाहते हैं लेकिन मुसीबतों से डरते हैं। ये सिर्फ किसी सच्ची घटना से प्रेरित फिल्म नहीं है। ये देश में एक अंतरिक्ष वैज्ञानिक के साथ हुए अन्याय की एक सच्ची घटना का दस्तावेज है।
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